सेबी का जेन स्ट्रीट ग्रुप पर प्रतिबंध: बाजार में पहुँच रोकी गई

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने एक अंतरिम आदेश में जेन स्ट्रीट ग्रुप और इससे जुड़ी संस्थाओं को प्रतिभूति बाजार में पहुँचने से रोक दिया है। नियामक ने यह कदम कथित उल्लंघनों के चलते उठाया है।

आदेश के अनुसार, इन संस्थाओं को प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से प्रतिभूतियों को खरीदने, बेचने या अन्यथा लेन-देन करने से भी प्रतिबंधित किया गया है। सेबी का आरोप है कि जेन स्ट्रीट ग्रुप की संस्थाओं ने अवैध तरीके से 4,843 करोड़ रुपये का लाभ कमाया है।

अवैध लाभ जब्त

सेबी ने आदेश दिया है कि जेएस ग्रुप की संस्थाओं द्वारा कथित उल्लंघनों से अर्जित अवैध लाभ, जो 4,843 करोड़ रुपये है, को जब्त किया जाएगा। इन संस्थाओं को भारत में एक अनुसूचित वाणिज्यिक बैंक में एक एस्क्रो खाता खोलने और इन अवैध लाभों को जमा करने का निर्देश दिया गया है।

बैंकों को निर्देश

जिन बैंकों में जेन स्ट्रीट की संस्थाओं के खाते हैं, उन्हें आदेश दिया गया है कि बाजार नियामक से पूर्व अनुमति के बिना कोई डेबिट नहीं किया जाए। नियामक ने संस्थाओं को अगले तीन महीनों के भीतर या ऐसे अनुबंधों की समाप्ति पर, जो भी पहले हो, किसी भी स्थिति को बंद करने या स्क्वायर-ऑफ करने के लिए कहा है।

जेन स्ट्रीट कौन है?

जेन स्ट्रीट एक मात्रात्मक ट्रेडिंग फर्म है, जो ट्रेडिंग के अवसरों की पहचान करने के लिए एल्गोरिदम और प्रौद्योगिकी का उपयोग करने के लिए जानी जाती है। यह घटनाक्रम अभी भी जारी है और इस पर अधिक जानकारी आने की उम्मीद है।

सेबी के इस फैसले से बाजार में हलचल है और निवेशकों की निगाहें इस मामले पर टिकी हुई हैं। यह देखना दिलचस्प होगा कि जेन स्ट्रीट ग्रुप इस मामले पर क्या प्रतिक्रिया देता है और आगे क्या कदम उठाता है।

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