आयकर रिटर्न (ITR) दाखिल करने की अंतिम तिथि: क्या 2025 में बढ़ेगी?

आयकर रिटर्न (ITR) दाखिल करने की अंतिम तिथि को लेकर अटकलें तेज हैं। कई व्यापारिक और पेशेवर संगठन सरकार से अंतिम तिथि बढ़ाने का आग्रह कर रहे हैं। कर्नाटक चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (FKCCI) और सूरत के चार्टर्ड अकाउंटेंट्स एसोसिएशन (CAAS) जैसे संगठनों ने भी इस मांग का समर्थन किया है। उनका कहना है कि तकनीकी गड़बड़ियों, फॉर्म में बदलाव और पोर्टल की समस्याओं के कारण देरी हो रही है।

क्यों हो रही है अंतिम तिथि बढ़ाने की मांग?

इन संगठनों का तर्क है कि करदाताओं और पेशेवरों को ITR फॉर्म में बार-बार होने वाले बदलावों, तकनीकी दिक्कतों और सिस्टम से जुड़ी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। FKCCI के अध्यक्ष एमजी बालकृष्ण ने CBDT को लिखे पत्र में कहा कि ITR फॉर्म में व्यापक बदलावों और सिस्टम में अनुपालन के कारण कई तकनीकी समस्याएं आ रही हैं।

किन मुद्दों पर हो रहा है ध्यान केंद्रित?

  • तकनीकी गड़बड़ियां: ITR पोर्टल पर लगातार तकनीकी समस्याएं आ रही हैं, जिससे रिटर्न दाखिल करने में परेशानी हो रही है।
  • फॉर्म में बदलाव: ITR फॉर्म में बार-बार होने वाले बदलावों के कारण करदाताओं को नई जानकारी समझने और भरने में समय लग रहा है।
  • अनुपालन संबंधी मुद्दे: कर नियमों और विनियमों में बदलाव के कारण करदाताओं को अनुपालन संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है।

हालांकि, सरकार ने अभी तक अंतिम तिथि बढ़ाने पर कोई फैसला नहीं लिया है। कर विशेषज्ञों का मानना है कि सरकार को इन मुद्दों पर ध्यान देना चाहिए और करदाताओं को राहत प्रदान करने के लिए उचित कदम उठाने चाहिए। यदि अंतिम तिथि बढ़ाई जाती है, तो इससे करदाताओं को ITR दाखिल करने के लिए अधिक समय मिल जाएगा और वे बिना किसी जल्दबाजी के अपना रिटर्न दाखिल कर सकेंगे।

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